Type Here to Get Search Results !
BREAKING NEWS

माली में आतंकियों के कब्जे में 3 भारतीय महीने भर बाद भी नहीं हुए रिहा, अफसरों के चक्कर लगाकर थक गए परिजन


पश्चिम अफ्रीकी देश माली में एक जुलाई को हुए आतंकी हमले में बंधक बनाए गए जयपुर के प्रकाश चंद जोशी समेत तीनों भारतीय महीने भर से ज्यादा का वक्त बीतने के बावजूद अभी तक रिहा नहीं हो सके हैं. परिवार के लोग जयपुर से लेकर दिल्ली तक नेताओं और अफसरों के चक्कर लगाकर थक चुके हैं, लेकिन उनकी अभी तक कोई मदद नहीं हो सकी है. जयपुर में मौजूद प्रकाश चंद जोशी का परिवार काफी परेशान है.

परिवार का एक-एक पल आंसुओं और आशंकाओं के बीच बीत रहा है. अभी तक कहीं से कोई मदद नहीं होने से मायूस परिवार ने अब सीधे तौर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मदद की गुहार लगाई है. परिवार को पूरा यकीन है कि पीएम मोदी बंधक बने भारतीयों को छुड़ाकर उन्हें सुरक्षित भारत लाने का काम जरुर करेंगे. महीने भर में परिवार के ज्यादातर सदस्य बीमार हो चुके हैं. पूरा परिवार खाली वक्त में घर में स्थापित मंदिर के सामने बैठकर देवी मां से प्रकाश चंद जोशी की सलामती के लिए प्रार्थना करता रहता है.

जयपुर शहर के मारवाड़ी परिवार के रहने वाले 61 साल के बुजुर्ग प्रकाश चंद जोशी देश विदेश की तमाम बड़ी सीमेंट कंपनियों में बतौर प्रोजेक्ट मैनेजर काम कर चुके हैं. हैदराबाद की एक कंपनी पश्चिम अफ्रीकी देश माली में सीमेंट का एक प्लांट लगा रही है. कंपनी ने प्रोजेक्ट मैनेजर के तौर पर इस प्लांट की जिम्मेदारी प्रकाश चंद जोशी को दी थी. वह 30 मई को तीन महीने के लिए भारत से रवाना हुए थे. प्लांट में ही उन्हें व भारत से गए दूसरे लोगों को रहने की जगह दी गई थी.

एक जुलाई को शाम करीब सात बजे उनके प्लांट पर 100 अज्ञात बंदूकधारी आतंकियों ने हमला किया. पूरे प्लांट में जमकर तोड़फोड़ करते हुए आगजनी व लूटपाट की. प्लांट को तबाह करने के बाद आतंकी प्रकाश चंद जोशी के साथ ही दो अन्य भारतीयों को अगवा कर अपने साथ ले गए. तीन चार दिन बाद तीनों की एक तस्वीर भी जारी की गई. तस्वीर देखकर ऐसा लग रहा है कि उन्हें किसी जंगली इलाके में रखा गया है. इस हमले की जिम्मेदारी अल-कायदा से जुड़े संगठन 'जमात नुसरत अल-इस्लाम वल मुस्लिमीन' ने ली थी.

प्रकाश जोशी की परिवार वालों से आखिरी बार बातचीत हमले से एक दिन पहले 30 जून को हुई थी. परिवार वालों को उनके अगवा होने की जानकारी कंपनी की तरफ से दो दिन बाद दी गई. अगवा कर बंधक बनाए जाने की खबर मिलने के बाद से ही परिवार में कोहराम मचा हुआ है. प्रकाश जोशी के परिवार में पत्नी सुमन के अलावा उनकी दो बेटियां हैं. इन दिनों उनकी मदर इन लॉ परिवार को सहारा देने के लिए पहुंची हुई है.पत्नी सुमन की आंख के आंसू थमने का नाम नहीं ले रहे हैं. मुंबई में जॉब कर रही बड़ी बेटी चित्रा भी इन दिनों जयपुर में ही हैं और पूरे दिन फोन व इंटरनेट के जरिए लोगों से मदद मांगती रहती है.

परिवार लगातार माली की राजधानी बमाको में स्थित भारतीय दूतावास के साथ ही हैदराबाद की कंपनी और भारतीय विदेश मंत्रालय से संपर्क में है. दिल्ली में ऊंचे ओहदों पर बैठे कई लोगों से मुलाकात कर मदद की गुहार लगाई है. दूतावास और कंपनी की तरफ से उन्हें लगातार जल्द ही सब कुछ ठीक होने का भरोसा दिलाया जा रहा है, लेकिन विदेश मंत्रालय उनके मेल और ट्वीट का जवाब भी नहीं दे रहा है. परिवार के लोग बेहद डरे हुए हैं. किसी अनहोनी की आशंका उन्हें हर वक्त सताती रहती है.

जयपुर शहर के वैशाली नगर इलाके में चित्रकूट रोड पर रहने वाला परिवार अब पीएम नरेंद्र मोदी से मदद की गुहार लगा रहा है. परिवार का मानना है कि पीएम मोदी ने दुनिया के तमाम देशों में फंसे हुए भारतीयों को सुरक्षित वापस लाने का काम किया है. परिवार ने पीएम मोदी से गुहार लगाई है कि वह इस मामले में भी दखल दें और प्रकाश चंद जोशी के साथ ही बंधक बनाए गए दो अन्य भारतीयों को वहां से छुड़ाकर सुरक्षित हिंदुस्तान लाने का काम करें. पत्नी सुनीता और बड़ी बेटी चित्रा का कहना है कि उन्हें अब बस भगवान और पीएम मोदी का ही आसरा है.

Post a Comment

0 Comments
* Please Don't Spam Here. All the Comments are Reviewed by Admin.

Top Post Ad

Design by - Blogger Templates |