बाराबंकीः बाढ़ की दस्तक! सरयू का दिखा रौद्र रूप, कोरिनपुरवा की सैकड़ों बीघा भूमि जलमग्न, चेतावनी स्तर 105.07 मीटर को पार कर चुका एल्गिन ब्रिज
July 01, 2025
रामनगर /बाराबंकी। सरयू नदी (घाघरा) का उफनता जलस्तर अब बर्बादी की आहट देने लगा है। रामनगर तहसील क्षेत्र में बह रही इस जीवनदायिनी नदी ने अब रौद्र रूप अख्तियार करना शुरू कर दिया है। मंगलवार सुबह 9 बजे एल्गिन ब्रिज पर जलस्तर 105.30 मीटर तक पहुंच गय ,जो चेतावनी स्तर 105.07 मीटर को पार कर चुका है। खतरे के स्तर 106.07 मीटर से यह अब महज कुछ ही सेंटीमीटर दूर है।नेपाल से शारदा, गिरजा और बनबसा बैराजों से लगातार छोड़े जा रहे पानी ने सरयू की धार को और विकराल बना दिया है। प्रति घंटे 3 सेंटीमीटर की रफ्तार से बढ़ता जलस्तर प्रशासन की नींदें उड़ा रहा है। मौके पर पहुंचे लेखपाल चंदन रावत ने स्थिति का जायजा लिया और जरूरी सूचनाएं संकलित कीं।कोरिनपुरवा मोहल्ले के मुहाने तक जब बाढ़ का पानी पहुंचा, तो गांव के लोगों के दिलों की धड़कनें तेज हो गईं। सैकड़ों बीघा उपजाऊ भूमि डूब चुकी है। कुछ ही कदमों की दूरी पर बसे दो दर्जन से अधिक घर अब खतरे की जद में हैं। ग्रामीणों को पिछले वर्ष की कटान की विभीषिका फिर से डराने लगी है।गांव में अफरा-तफरी और भय का माहौल है। सरयू हर साल यहां तबाही की दास्तान लिखती है ,कभी खेतों को लीलती है तो कभी घरों को।एल्गिन ब्रिज पर तैनात जूनियर इंजीनियर मुस्तकीन ने पुष्टि की कि फिलहाल स्थिति नियंत्रण में है, लेकिन तेजी से बढ़ता जलस्तर खतरे की घंटी बजा रहा है। प्रशासन अलर्ट मोड में है, निगरानी जारी है, लेकिन फिलहाल ग्रामीणों को खुद भी सतर्क रहना होगा।
सरयू का यह उफान केवल पानी नहीं, सैकड़ों परिवारों की रोजी-रोटी, मेहनत और आशाओं को अपने साथ बहा ले जाने वाला है। शासन-प्रशासन से अपील है कि समय रहते राहत और बचाव के ठोस उपाय किए जाएं, ताकि गांव की मिट्टी में फिर से जीवन अंकुरित हो सके।