अमेठी: विद्यालयों में स्कूली शिक्षा के साथ दिया जाएगा संस्कार
May 07, 2025
अमेठी । एड्लीडर्स यूपी के संयोजन से प्राथमिक विद्यालय घाटमपुर ब्लॉक भेटुआ व भादर ब्लॉक के नेवढ़िया स्थित कंपोजिट विद्यालय में जिला स्तरीय बच्चों ने चित्रों के रामायण चित्रकला कार्यशाला का माध्यम से उकेरे श्रीराम के आदर्श के माध्यम से जानकारी दी। कार्यशाला 15 मई तक चलेगी, जिसमें बच्चों को रामायण के प्रसंगों को चित्रों के माध्यम से व्यक्त करने का प्रशिक्षण दिया जाएगा। कार्यक्रम अंतरराष्ट्रीय रामायण एवं वैदिक शोध संस्थान अयोध्या और उत्तर प्रदेश संस्कृति विभाग के निर्देशन में आयोजित हो रहा है। कार्यशाला में एडूलीडर्स अमेठी के जनपद समन्वयक रोहित प्रताप सिंह ने बताया कि प्रदेश के 75 जिलों में ग्रीष्मकालीन रामायण अभिरुचि कार्यशालाएं संचालित की जा रही हैं। इसका उद्देश्य बच्चों में नैतिक मूल्यों, मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम के आदर्शों और जीवनचर्या की समझ विकसित करना है। कार्यशाला में प्रशिक्षक राजीव रंजन भारती व सहायक प्रशिक्षक ललित नारायण त्रिपाठी ने बच्चों को चित्रकला की बारीकियां सिखाईं। पहले ही दिन बच्चों ने राम वनवास, सीता हरण, राम भरत मिलन जैसे प्रसंगों को सुंदर चित्रों के माध्यम से प्रस्तुत किया। कार्यशाला में जिले के विभिन्न विद्यालयों के शिक्षक भी बतौर प्रशिक्षक जुड़ रहे हैं। इनमें कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालय की शिक्षिका रश्मि सिंह, प्राथमिक विद्यालय घाटमपुर की रेनू श्रीवास्तव, शुकुलडीह से मीना कुमारीम और जगदीशपुर की अनीता देवी प्रमुख रूप से शामिल हैं।
कार्यशाला में भाग ले रहे बच्चे रामायण के विभिन्न प्रसंगों को अपनी कल्पना और रंगों के माध्यम से उकेर रहे हैं। कहीं राम का वनगमन है, तो कहीं लंका विजय। चित्रों के माध्यम से भाईचारा, संयम, कर्तव्य और सत्य की झलक स्पष्ट दिखाई दे रही है। आयोजकों ने बताया कि इन गतिविधियों से बच्चों में अभिव्यक्ति की क्षमता के साथ-साथ संस्कारों का भी विकास हो रहा है।
कार्यशाला के अंतर्गत रामचरितमानस गान, रामायण क्ले मॉडलिंग, मुखौटा निर्माण, रामलीला अभिनय, वेद गान, वेद सामान्य ज्ञान जैसे विषयों पर विशेष सत्र आयोजित किए जाएंगे। आयोजकों के अनुसार कार्यशाला का उद्देश्य केवल कला नहीं, बल्कि बच्चों को संस्कार, चरित्र और संस्कृति की शिक्षा देना है।