गर्मी बढ़ने के साथ बढ़ीं आग लगने की घटनाएं, यूपी में फसल बर्बाद तो दिल्ली में कारखाना जलकर खाक
April 10, 2025
देश में गर्मी बढ़ने के साथ ही आग लगने की घटनाएं भी बढ़ गई हैं। बुधवार (9 अप्रैल) को अकेले उत्तर प्रदेश में आग लगने के तीन मामले सामने आए। इसके अलावा यूपी और महाराष्ट्र में भी आग लगने के कारण काफी नुकसान हुआ है। प्रयागराज के नैनी इलाके के दादूपुर के पास प्लाईवुड गोदाम में आग लगने से खासा नुकसान हुआ। फायर बिग्रेड की चार गाड़ियां मौके पर पहुंचीं। इसके बाद आग पर काबू पाया गया। वहीं, कन्नौज में आतिशबाजी के सामान से भरे हुए बंद कमरे में अज्ञात कारणों से आग लग गई। आग लगने से छिटके बारूद ने आपसपास के खेतों को चपेट में लिया। हादसे में करीब 3 बीघा खेतों में कटा पड़ा गेंहू जलकर राख हो गया। घटना सौरिख के नगरिया तालपार गांव में हुई। सूचना पर पहुंची दमकल ने कड़ी मशक्क्त के बाद आग पर काबू पाया।
सीतापुर में रेलवे आवासीय परिसर में आग लग गई और परिसर के जंगल में तेजी से फैल गई। इस घटना में रेलवे के कई उपकरण जलने की आशंका है। आग लगने से रेलवे कर्मचारियों में हड़कंप मच गया। दमकल कर्मियों ने आग पर काबू पाया।
हाथरस में पेट्रोल पंप पर पेट्रोल डलवाते समय युवक की बाइक में भीषण आग लग गई। थाना सासनी क्षेत्र के अलीगढ़ आगरा नेशनल हाईवे पर गांव समामई के पास स्थित पैट्रोल पंप में बाइक में अचानक आग लगने से भगदड़ मच गई। पेट्रोल पंप कर्मचारियों ने जलती हुई बाइक को रस्सी से बांधकर सड़क पर ले जाकर फेंका। पेट्रोल पंप कर्मचारियों की सूचना पर पहुंची फायर ब्रिगेड ने आग पर काबू पाया।
महाराष्ट्र के देविगिरी किले में मंगलवार (8 अप्रैल) को आग लगने से खासा नुकसान हुआ। भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) के स्थानीय अधिकारियों ने महाराष्ट्र के छत्रपति संभाजीनगर में आग के कारण का पता लगाने के लिए जांच शुरू कर दी है। देवगिरि किला, जिसे दौलताबाद किला भी कहा जाता है, जिले में आने वाले पर्यटकों के बीच आकर्षण का प्रमुख केंद्र है। यह छत्रपति संभाजीनगर शहर से लगभग 16 किमी दूर स्थित है। यह नौवीं से 14वीं शताब्दी में यादव राजवंश की राजधानी हुआ करता था। अधिकारी ने बताया, ‘‘मंगलवार की सुबह करीब 10 बजे आग लगी और किले के चारों तरफ फैल गई। आग ने किले के परिसर में घास और हरियाली को अपनी चपेट में ले लिया। हमने यह पता लगाने के लिए जांच शुरू कर दी है कि आग कैसे लगी। हम इस ऐतिहासिक स्मारक की आपदा प्रबंधन के दृष्टिकोण से भी जांच करने जा रहे हैं।’’