- एक सर्वे के बाद सामने आया पूरा मामला
अमेठी। जिले के मस्जिदों में मजहबी तालीम के नाम पर 42 मदरसे अवैध तरीके से वेधडक संचालित हो रहे हैं। जबकि पांच मान्यता प्राप्त व 53 अनुदानित सहित 58 मदरसे वैध बताए जा रहे हैं। यह चैकाने वाला खुलासा एक सर्वे के दौरान सामने आया है। सरकार द्वारा किसी मदरसे को मान्यता देने के लिए नियम निर्धारित किया है। जिसके तहत किसी मदरसे में एक सौ या इससे अधिक छात्र पंजीकृत व अध्ययनरत होने पर ही मान्यता दिया जा सकता है। सर्वे के दौरान एक सौ मदरसों के संचालन की जानकारी सामने आई थी। जिसमे पांच सरकार द्वारा वित्तीय सहायता प्राप्त अनुदानित है। जबकि छात्र संख्या नियम के अनुरूप मिलने पर 53 को मान्यता दी गई है। विभागीय सूत्रों की माने तो इसमें सभी मदरसे सुन्नी मजहब के हैं। सिया समुदाय के लिखित एक भी मदरसा नहीं है। बताया जाता हैकि जो 42 अवैध तरीके से मदरसे संचालित हो रहे हैं। उनके विषय में जानकारी दी गई हैकि यह मदरसे मस्जिदों में दीनी तालीम लेने के लिए आने वाले 10 से 20 या इससे अधिक छात्रों को शिक्षा दिया जाता है। जिन्हें मदरसा की श्रेणी में नहीं माना जायेगा। इस संबंध में जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी प्रभात कुमार ने बताया कि मान्यता के लिए आवेदन मिलने के बाद स्थलीय निरीक्षण किया जाता है। जो मानक पूरी करते हैं। उन्हें ही मान्यता प्रदान करने की कार्रवाई अमल में लाई जाती है। इस दौरान 42 मदरसों ने मान्यता का आवेदन किया था। जांच में निर्धारित नियम पूरा न करने पर मान्यता नहीं दी। पता करने पर बताया कि दीनी तालीम लेने के लिए कुछ बच्चे आते हैं। जिन्हें तालीम दिया जाता है।