हमें अफसोस है कि हमारा पड़ोसी आज भी यह नहीं समझ पा रहा है कि उसने मानवता की हत्या की है-फारूक अब्दुल्ला
April 28, 2025
जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फारूक अब्दुल्ला ने सोमवार (28 अप्रैल, 2025) को कहा कि कश्मीरियों ने 1947 में टू नेशन थ्योरी को पानी में फेंक दिया था और कहा था कि उनका एरिया पाकिस्तान के साथ नहीं जाएगा. उन्होंने कहा कि वो (आतंकी) समझते हैं कि हम पाकिस्तान के साथ चले जाएंगे, वो गलत समझते हैं.
उन्होंने कहा, "हम उनकी (पाकिस्तान) इस गलतफहमी को दूर करना चाहते हैं कि इन हरकतों से हम पाकिस्तान चले जाएंगे. हम जब 1947 में उनके (पाकिस्तान) साथ नहीं गए तो फिर आज क्यों जाएंगे? हम टू नेशन थ्योरी आज भी मानने को तैयार नहीं हैं. हम इससे कमजोर नहीं बल्कि मजबूत हो रहे हैं. मैं पहले हमेशा चाहता था कि बातचीत हो मगर हम उन पीड़ितों के परिवारों से क्या कहेंगे कि हम बातचीत कर रहे हैं? क्या बातचीत करना इंसाफ है? आज देश बालाकोट नहीं बल्कि ऐसी कार्रवाई चाहता है कि फिर कभी इस तरह के हमले न हों."
उन्होंने कहा, "हमें अफसोस है कि हमारा पड़ोसी आज भी यह नहीं समझ पा रहा है कि उसने मानवता की हत्या की है. हमने 1947 में ही टू नेशन थ्योरी को पानी में फेंक दिया था. आज हम भी टू नेशन थ्योरी को स्वीकार करने के लिए तैयार नहीं हैं. हिंदू, मुस्लिम, सिख, ईसाई, हम सब एक हैं. हम उन्हें मुंहतोड़ जवाब देंगे."
फारूक अब्दुल्ला की यह टिप्पणी पहलगाम में हुए घातक आतंकी हमले के बाद आई है जिसमें 25 भारतीयों समेत 26 लोग मारे गए थे. यह हमला पाकिस्तान के सेना प्रमुख जनरल असीम मुनीर की ओर से टू नेशन थ्योरी को उठाए जाने के कुछ ही दिनों बाद हुआ था. 16 अप्रैल, 2025 को इस्लामाबाद में प्रवासी पाकिस्तानियों के एक सम्मेलन को संबोधित करते हुए जनरल मुनीर ने कहा कि पाकिस्तान भारतीय कब्जे के खिलाफ संघर्ष में कश्मीरी लोगों के साथ खड़ा रहेगा.
उन्होंने जिन्ना की टू नेशन थ्योरी का हवाला देते हुए कहा, "आपको अपने बच्चों को पाकिस्तान की कहानी बतानी होगी, ताकि वे यह न भूलें कि हमारे पूर्वज हमें जीवन के हर संभव पहलू में हिंदुओं से अलग समझते थे."