आतंकियों ने ऐसा कौन सा इस्लाम सीखा है-सैयद अहमद बुखारी
April 25, 2025
जामा मस्जिद के शाही इमाम सैयद अहमद बुखारी ने पहलगाम में हुए आतंकी हमले की कड़ी निंदा करते हुए इसे इस्लाम के खिलाफ और मानवता पर हमला बताया। शुक्रवार को अपने एक बयान में उन्होंने कहा कि निर्दोष लोगों की हत्या करना ऐसा पाप है, जो अल्लाह के गुस्से को न्योता देता है। शाही इमाम ने कहा, ‘कुरान पाक में लिखा है कि एक इंसान की हत्या पूरी मानवता की हत्या के समान है, और एक इंसान को बचाना पूरी मानवता को बचाने जैसा है।’ उन्होंने पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए भीषण आतंकी हमले को भारत की नैतिक परंपराओं और मानवता के लिए झकझोरने वाला बताया।
बता दें कि पहलगाम आतंकी हमले में आतंकियों ने धर्म पूछकर निर्दोष लोगों को निशाना बनाया और हिंदुओं की पहचान होने पर उनकी हत्या कर दी। इस घटना में 26 लोगों ने अपनी जान गंवा दी जबकि कई अन्य घायल हो गए। जामा मस्जिद के शाही इमाम ने इसे अक्षम्य अपराध और इस्लाम की शिक्षाओं के खिलाफ बताया। उन्होंने सवाल किया, ‘खुद को मुसलमान कहने वाले आतंकियों ने ऐसा कौन सा इस्लाम सीखा है? लोगों से उनका धर्म पूछकर और यह जानकर कि वे हिंदू हैं, उनकी हत्या कर दी गई। इसका इस्लाम की शिक्षाओं, इतिहास और संस्कृति से कोई लेना-देना नहीं है।’
शाही इमाम ने चेतावनी दी कि अगर ऐसे कृत्य नहीं रुके, तो हालात और खराब हो सकते हैं। उन्होंने जोर देकर कहा कि भारत और उसकी समृद्ध संस्कृति कभी ऐसी क्रूरता को स्वीकार नहीं करेगी। बुखारी ने देशवासियों से हिंदू-मुसलमान के भेद को भूलकर एकजुट होने की अपील की। उन्होंने कहा, ‘यह समय देश की एकता, सम्मान और संप्रभुता के लिए एक चट्टान की तरह खड़े होने का है।’
शाही इमाम ने कोविड महामारी का जिक्र करते हुए कहा कि उस दौरान भी मानवता ने बड़ा दुख झेला, लेकिन हमने कोई सबक नहीं सीखा। उन्होंने कहा कि आज दुनिया फिर से हिंसा और खूनखराबे में डूबी है। बुखारी ने भारत की सह-अस्तित्व और समानता की परंपराओं को देश का गौरव बताया, जो हमें विश्व में अलग बनाती हैं। उन्होंने पहगाम आतंकी हमले में पीड़ित परिवारों के प्रति संवेदना व्यक्त की और विश्व में शांति, सद्भाव और भाईचारे की प्रार्थना की।