मणिपुर हिंसा: भीड़ ने मुख्यमंत्री के दामाद समेत कई विधायकों के घर फूंके, 7 जिलों में इंटरनेट बंद

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मणिपुर में एक बार फिर से हिंसा का दौर लौट आया है. गुस्साए लोगों ने मुख्यमंत्री एन. बीरेन सिंह के निजी आवास पर भी हमला कर दिया. पुलिस को भीड़ को तितर-बितर करने के लिए आंसू गैस के गोले तक छोड़ने पड़े. रिपोर्ट के अनुसार, मुख्यमंत्री एन. बीरेन सिंह उस समय खबर में नहीं थे. वो अपने ऑफिस में थे और पूरी तरह से सुरक्षित हैं.

राज्य सरकार ने हाल में ही इंफाल में कर्फ्यू लगा दिया है. यहां तीन लोगों की हत्या के बाद भड़के विरोध प्रदर्शनों के मद्देजनर छह जिलों में इंटरनेट सेवाएं बंद कर कर दी हैं. प्रदर्शनकारियों ने इंफाल में दो मंत्रियों और तीन विधायकों के घरों पर हमला किया था, जिसके बाद ये विरोध प्रदर्शन हिंसक हो गए थे.

जानकारी के अनुसार, इंफाल पश्चिम जिले के लांफेल सनकेथेल में स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री सपम रंजन के आवास पर भी भीड़ ने हमला कर दिया था. वहीं, भीड़ ने उपभोक्ता मामले और सार्वजनिक वितरण मंत्री एल. सुसिन्द्रो सिंह के घर को भी निशाना बनाया है.

मुख्यमंत्री एन. बीरेन सिंह के दामाद और भाजपा विधायक आरके इमो के आवास के बाहर भी प्रदर्शनकारी जमा हो गए थे. इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने इन हत्याओं पर उचित कार्रवाई करने की मांग की थी. इसके अलावा  प्रदर्शनकारियों ने 24 घंटे के भीतर दोषियों को गिरफ्तार को करने को कहा था.

इसके अलावा  प्रदर्शनकारियों ने केशमथोंग निर्वाचन क्षेत्र के टिड्डिम रोड में निर्दलीय विधायक सपम निशिकांत सिंह के आवास के बाहर भी विरोध प्रदर्शन किया. इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने विधायक के स्वामित्व वाले एक स्थानीय समाचार पत्र के ऑफिस पर भी हमला किया.

गौरतलब है कि जिरीबाम जिले के छह लापता लोगों में से तीन व्यक्तियों के शव शुक्रवार रात मणिपुर-असम सीमा पर जिरी और बराक नदियों के संगम के पास पाए गए हैं. इसमें एक महिला और दो बच्चों के अज्ञात शवों को कल रात असम के सिलचर लाया गया है.  पुलिस पोस्टमार्टम रिपोर्ट का इंतजार कर रही है. पहचान के लिए फोटो एकत्र किए गए हैं.

इस बीच, पुलिस ने कहा कि संदिग्ध उग्रवादियों की बिष्णुपुर जिले के इरेंगबाम मानिंग इलाके में सुरक्षा बलों के साथ संक्षिप्त मुठभेड़ हुई. उन्होंने कहा कि घटना में कोई हताहत नहीं हुआ.

गृह मंत्रालय ने 14 नवंबर को इंफाल पश्चिम जिले में सेकमाई व लामसांग, इंफाल पूर्व में लामलाई, बिष्णुपुर में मोइरांग, कांगपोकपी में लीमाखोंग और जिरीबाम जिले में जिरीबाम के अंतर्गत आने वाले इलाकों में अफ्स्पा को फिर से लागू कर दिया. वहीं, मणिपुर सरकार ने केंद्र से राज्य के छह थानाक्षेत्रों में आने वाले इलाकों में सशस्त्र बल (विशेष शक्तियां) अधिनियम (अफ्स्पा) की समीक्षा कर उसे हटाने का अनुरोध किया है.