बांदाः पूर्व प्रधान और सचिव की सांठगांठ से लाखों का भ्रष्टाचार
विधान केसरी समाचार
बांदा। पिछली पंचवर्षी ग्राम पंचायत डाडामऊ में पूर्व प्रधान और सचिव की सांठगांठ का हाल यह रहा कि एक ही पात्र व्यक्ति के शब्द का परिवर्तन कर दो बार तो कहीं तीन बार शौचालय का लाभार्थी बनाकर लाखों का भ्रष्टाचार किया गया। इस गांव का विकास तो इनके कार्यकाल में नहीं हो सका। ग्रामीण अनियमिततापूर्ण कार्य प्रणाली से असंतुुष्ट रहे।
ग्रामीणों ने बताया कि जसपुरा ब्लाक के उक्त पंचायत में पूर्व प्रधान और सचिव की मिली भगत से सरकारी योजनाओं में जमकर भ्रष्टाचार किया गया है। इसमें भले ही पात्रों को लाभ मिले या नहीं इस बात से गांव के जिम्मेदारों को कोई वास्ता नहीं रहा। मनमाने ढंग से शौचालय की सूची तैयार की गयी। पात्रों से भी लाभ दिलाने के नाम पर मोटी रकम वसूली गयी। इसमें दर्जन भर से अधिक पात्र ऐसे हैं जिनके सुविधा शुल्क देने मूें असमर्थता जताने पर बाहर का रास्ता दिखाया गया है जबकि अपात्रों को सचिव और पूर्व प्रधान की गठजोड़ की वजह से पात्र बना दिया। इसके साथ ही ग्रामीणों का आरोप है कि गांव के पूर्व प्रधान ने हर विकास के नाम पर जमकर धन उगाही की है। इसकी हिस्सेदारी सचिव को भी दी गयी। जिसके कारण सरकारी योजनाओं में किये गये भ्रष्टाचार की परत दर परत नहीं खुले इससे भले ही गांव का विकास अधर में लटका रहा। सचिव और प्रधान पिछले कार्यकाल में स्वार्थपूर्ति का कारण बने रहे।
प्रधानी के कार्यकाल में बना मकान
शहर के तिंदवारी रोड स्थित बरेदी का पुरवा में पूर्व प्रधान ने ग्राम पंचायत डाडामऊ के कार्यकाल के दौरान जमीन खरीदकर बनवाया था। ग्रामीणों का कहना है कि इस मकान का निर्माण कार्य व भूमि खरीदने के लिए कैसे मिली इसकी जांच कराई जाए तो हकीकत खुद जाहिर हो जाएगी।